Tuesday, May 3, 2011

हसीं ख्वाब



आज जो ये हवा आयी है तुम्हारे आरिफ को छूकर,
इसने एक प्यार की कहानी सुनायी है हौले से|

दिल ये जानता है की तुम गैर हो ,
पर यूँ ही तुम्हारी यादों का खवाब बनाते रहता है|

तुमने भी बहुत कोशिश की अपने जेहन से हमें मिटने की,
और आसमां हमेशा हमें करीब लाता रहता है|

चलो आज एक वादा करें एक दुसरे से,दिल की तन्हाईओं में हमेशा याद रखेगे एक दूजे को,
क्योंकि हम दोनों जानते है की हमारी प्यार की मंजिल कभी एक हो नहीं सकती|

एक दुसरे से शिकवा-गिला करना क्या,
जीवन के हर मोड़ पे हम तुमसे मिलेंगे हमनफज,
फिर एक दुसरे से रुसवा होकर जीना क्या|

माना की तू मेरी रातों का हसीं ख्वाब हो,
पर हर खवाब हकीकत हो जाये ये मुनासिब  तो नहीं|

-- ज्ञान प्रकाश 


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